देहरादून। एसआईटी प्रभारी टीसी मंजूनाथ के नेतृत्व में उत्तराखंड के छात्रवृत्ति घोटाले में चल रही जांच में एसआईटी ने नौ नए कॉलेजों 1.हिमालयन दून एकेडमी, गागलहेडी रोड, सिकंदरपुर, भगवानपुर, हरिद्वार, 2.ओम बायो साइंस एंड टेक्नोलॉजी रूडकी, बहादराबाद हरिद्वार। 3. ग्रीनवे इंस्टिट्यूट आफ मैनेजमेंट, पुहाना चौक, रूडकी हरिद्वार। 4. सुभारती प्राइवेट आईटीआई, बेडपुर, पिरान कलियर, रूडकी हरिद्वार। 5. यूपी कॉलेज आफ पोलीटेक्निक फॉर रिसर्च कमालपुर, छुटमलपुर, सहारनपुर। 6. कृष्णा कॉलेज आफ लॉ, कमालपुर, छुटमलपुर, सहारनपुर, उत्तर प्रदेश। 7.हिमालयन ग्रुप आफ प्रोफेसनल इंस्टिट्यूशन सिमोर, नहान, हिमाचल प्रदेश। 8.स्वामी विवेकानंद पॉलीटेक्निक, मंडुवाला, फतेहपुर, सहारनपुर, उत्तर प्रदेश। 9.एमआईएमटी छुटमलपुर, सहारनपुर, उत्तर प्रदेश के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। इन सभी कॉलेजों पर आरोप है कि इन्होंने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर समाज कल्याण विभाग से करोड़ों रुपये की छात्रवृत्ति डकार ली है। एसआईटी ने छात्रवृत्ति घोटाले में अब तक 27 कॉलेजों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है और अभी तक इसमें 15 लोग गिरफ्तार हो चुके है, इनमें पांच सीनियर आफिसर भी शामिल हैं। इन नौ कॉलेजों ने करीब आठ करोड रुपए का घोटाला किया है। पाठकों को बताते चलें कि इनमें से अधिकतर कॉलेज मालिकों ने भाजपा सरकार के वरिष्ठ मंत्रियों, वरिष्ठ पदाधिकारियों पर अपनी पकड़ बना रखी है और इसी पकड़ के चलते एसआईटी से इन पर मुकदमा करने में देरी हुई है। उपरोक्त कुछ मुक़दमाधारी कॉलेज संचालक तो अपने कॉलेज कैम्पस में कार्यक्रम के नाम पर भाजपा के मंत्रियों व पदाधिकारियों को मुख्य अतिथि बनाकर घोटाले पर पर्दा डालने की कोशिश भी करते रहे हैं। एसआईटी प्रभारी एसपी क्राइम मंजूनाथ टीसी ने बताया कि छात्रवृत्ति लेने के लिए कॉलेज प्रबंधकों की ओर से फर्जी एडमिशन दिखाए गए और फर्जी कागजातों के आधार पर छात्रवृत्ति ले ली गई। एसआईटी प्रभारी टीसी मंजूनाथ ने बताया कि उपरोक्त सभी कॉलेज के आरोपी मालिकों की शीघ्र ही गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं।
छात्रवृत्ति घोटाला: 9 और नये कॉलेजों के खिलाफ मुकदमा दर्ज