लॉक डाउन में नियमविरुद्ध चल रही कंपनी में कार्यरत मजदूर का पैर कटने से परिवार की माली हालत खराब, कम्पनी से मुआवजे की मांग को लेकर कम्पनी के बाहर परिवार सहित दिया धरना


अरुण सैनी


हरिद्वार। स्टरलाइट कंपनी बहादरपुर सैनी पंतजलि के द्वारा मज़दूरों पर हो रहा अत्याचार शोषण व उत्पीड़न का एक मामला सामने आया है। कम्पनी में कार्यरत एक मजदूर यशपाल कुमार पुत्र श्री मेहर सिंह निवासी ग्राम सोहलपुर स्टरलाइट कंपनी में 3 साल से कार्य कर रहा था। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिये जब देश के प्रधानमंत्री ने लॉकडाउन लगाया था तब देश की सभी कंपनियां बन्द थी लेकिन उसके बावजूद भी स्टरलाइट कम्पनी ने श्रम कानूनों का और देश के प्रधानमंत्री की आज्ञा का उल्लंघन करते हुए स्टरलाइट कंपनी चालू कर उत्पादन कर रही थी और अपने मजदूरों से काम ले रही थी। 30 अप्रैल को कंपनी परिसर के अंदर काम करते हुए यशपाल का एक पैर कट गया। कम्पनी में कटिंग रोल पेपर गिरने से यशपाल का पैर कट गया था। कंपनी में कोई भी सुरक्षा के इंतजाम नहीं है और गरीब मजदूरों से तानाशाही के रवैया से काम लिया जाता है। मजदूर का पैर कटने के बाद मजदूर छुट्टी पर चला गया और कंपनी से लगातार इलाज के लिए परिवार की रोजी रोटी के लिए मुआवजे की मांग करता रहा लेकिन 6 महीने बाद भी कंपनी ने मजदूर को कुछ नहीं दिया। मजदूर आर्थिक हानि झेलता रहा। परिवार में बच्चे रोते रहे, आर्थिक रूप से परिवार का बुरा हाल हो गया लेकिन कम्पनी के मालिकों के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। आज दुखी होकर यशपाल की पत्नी श्रीमती सुमन देवी व यशपाल का परिवार सहित कंपनी के सभी कर्मचारियों सहित कंपनी के गेट पर बैठ गया और न्याय की गुहार करने लगा लेकिन कम्पनी मालिक मजदूरों की नहीं सुन रहे हैं। वह मजदूर जो कंपनी के लिए अपना पसीना बहाता है आज उसकी सुनवाई कहीं नहीं है। मजदूर का कहना है कि उसने अपने शरीर का एक अंग कंपनी को भेंट चढ़ा दिया कंपनी उसे मुआवजा दे ताकि वह अपने बच्चों का पालन पोषण कर सके। धरने में आज सैकड़ों मजदूर शामिल हुए और मजदूर के लिए शासन प्रशासन व कंपनी प्रबंधन से न्याय की मांग की इस धरने में अमित, सुमित,अरुण, पुष्कर, उपदेश, राजेश, अजय, सुमित, अमित कश्यप आदि शामिल हुए।